विशेष रुप से प्रदर्शित पोस्ट

मुहब्बत का अंज़ाम

 बेताबी बेचैनी को अपनाना  भीड़ में अकेला होना  अकेले में आँसू पीना  प्यार की गीतों में प्यारी नजर आना  निरुत्साह निराश में डुबे रहना  लड़कियों के प्रति नफ़रत होना  जोश मस्ती में मन नहीं लगना  आदि सभी लक्षण आ जाते हैं  अगर मुहब्बत में मन मूर्जाने तो  अतएव कम दिन के  जिंदगी को और जवानी को  प्रेम नामक अभिनय के खातिर  अपना न होने पराया के लिए  त्याग देना महान पाप है  इससे अच्छा  प्रेमनगर के द्वार को बंद करके  स्वर्गनगर के द्वार को  खोलना है उचित।।

आप अच्छे है तो होंगे

 आप अच्छे है तो होंगे


आप अच्छे हैं तो होंगे आपकी नजर में

मेरी नजर में तो आप नजर ही है।


हो सकता है आप बहुत ज्ञानी बरगद पेड़ सा

हो सकता है आप बहुत ऊंचाई में हो 

जो यूकेलिप्टस ग्रांडिस पेड सा

मगर एक बात ध्यान में रहे 

ज्ञान बांटने की वस्तु है

बिन बांटे कोई ज्ञानी ज्ञानी होते नहीं। 

जैसे खर्जूर पेड़ 

फल देती है मिठास भरी 

मगर मीठापन दूर रखने कारण

 खर्जूर पेड़ के प्रती लोगों में

ममकार नहीं है ज्यादा ।।



हो सकता है आप बहुत बड़ा पद में हो 

हो सकता है बड़ा सुरक्षित पद में हो

लेकिन कितना ही उच्च पद में रहे, 

एकन एक वक्त में 

बिन सहारे छोटे लोगों की 

आगे बढ़ना नामुमकिन है।

हरबार तलवार का नहीं 

कभी-कभी सुई का भी जरूरत पड़ता है

जो काम तलवार नहीं करती 

वह काम चाकु कर सकती है

अतएव पद की वजह से उड़ना मत

क्योंकि जब गिरोगे

 तब सामना करना मुश्किल है।।

टिप्पणियाँ