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MahaabhojMD
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बस, मेरी अभिशाप मत बनो !!
तेरी मन पर मेरी मन गई है
तेरे लिए जान भी हाजिर है जानेमन
बस, तुम मेरे अभिशाप मत बनो !!
प्रेम को ही प्रेम करना चाहा
इसलिए तुमसे ही किया …
प्रेम नहीं तो दोस्ती तो कर लो
तुम्हारी प्रेम ही मेरा जोश है, प्रेम ही मेरा उत्साह है
प्रेम नहीं मिली तो जीवन अधूरा है ….
तुम मेरे साथ रहने तो
जगत को भी किसी तरह जीत लूंगा
चाहे तो तारें भी तोड़ कर लाने की
कोशिश में पीछे नहीं हटूंगा
भगवान को भी किसी तरह मनाकर कई वरदान दिलाऊंगा
जन्नत हमारे घर को बनाऊंगा
तेरी स्वतंत्रता पर उंगली नहीं उठाऊंगा
हमसफर बनकर ही रहूंगा
आखिरी दम तक तुझे नहीं छोडूंगा
बस, तुम मेरे अभिशाप मत बनो !!
-रावण
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